पूरा देश इस समय कोरोना से जूझ रहा है। देश भर में इस वायरस के कारण लॉकडाउन की स्थिति है। पूरे देश में डॉक्टर व अन्य स्वास्थकर्मी इस वायरस से लड़ने में लोगों की मदद कर रहे हैं। वे दिन रात इस मेहनत में लगे हुए हैं कि कैसे भी इस वायरस से लोगों की जान बचायी जाए। लेकिन हमारे भारत में एक और मामला सामने आया है। कई जगहों पर इलाज करने गए स्वास्थकर्मियों और डॉक्टरों से मारपीट की जा रही है। उन पर पत्थर बरसाए जा रहे हैं। मामले की गंभीरता को देखते हुए अब भारत सरकार ने एक कानून पास किया है।
स्वास्थकर्मियों पर हो रहे हमले को लेकर मोदी सरकार ने नया अध्यादेश जारी किया था जिस पर देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मुहर लगा दी है। नए कानून के मुताबिक कोरोना के लिए काम कर रहे डॉक्टर या अन्य स्वास्थकर्मियों पर हमला करना अब गैर ज़मानती अपराध होगा। ये कानून डॉक्टरों और स्वास्थकर्मियों की सुरक्षा के लिए लाया गया है।
मोदी सरकार ने 1897 से चल रहे महामारी कानून में बदलाव किया है। नए कानून के हिसाब से अब डॉक्टर व अन्य स्वास्थकर्मियों पर हमला करना गैर ज़मानती अपराध कहलायेगा। पूरे मामले की जांच एक महीने में की जाएगी और जल्दी ही फैसला सुनाया जायेगा। मामले की गंभीरता को देखते हुए दोषी व्यक्ति को 3 महीने से लेकर 7 साल तक की सजा सुनाई जा सकती है। साथ ही 50,000 से लेकर 7 लाख तक का जुर्माना भी वसूला जा सकता है।
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